एम्स: विश्व साइकिल दिवस पर रैली निकाल कर दिया स्वस्थ्य रहने के लिए नियमित साइकिल चलाने का संदेश

एम्स: विश्व साइकिल दिवस पर रैली निकाल कर दिया स्वस्थ्य रहने के लिए नियमित साइकिल चलाने का संदेश
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ऋषिकेश। विश्व साइकिल दिवस के उपलक्ष्य में यहां अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) में साइकिल रैली का आयोजन किया गया, जिसके माध्यम से लोगों को स्वस्थ्य रहने के लिए नियमित साइकिल चलाने को लेकर जागरूक किया गया।

एम्स की कार्यकारी निदेशक प्रोफेसर डाॅ. मीनू सिंह के मार्गदर्शन में साइकिल रैली का आयोजन किया गया। इस अवसर पर उन्होंने बताया कि साइकिल एक विश्वसनीय टिकाऊ यातायात साधन होने के साथ-साथ जन स्वास्थ्य की दृष्टि से भी बेहद लाभदायक है l बताया गया है कि 2023 में विश्व साइकिल दिवस का आयोजन “Riding Together for a Sustainable Future.”( स्थाई भविष्य के लिए एक साथ सवारी )थीम पर किया गया है।

उन्होंने बताया कि विश्व साइकिल दिवस मनाए जाने का मुख्य उद्देश्य पर्यावरण प्रदूषण को कम करने का संदेश , लोगों को स्वस्थ रखना, प्रतिदिन साइकिल चलाने के लिए प्रेरित करना, साइकिल के अस्तित्व को बचाए रखना और उसकी उपयोगिता को बढ़ावा देना है। कहा गया कि साइकिल की सवारी सभी प्रांतों, समुदायों को एक साथ मिलजुल कर किफायती व आनंदमय तथा सुरक्षित तरीके से सतत भविष्य के लिए कार्य करने की प्रेरणा देता है।

संस्थान की संकायाध्यक्ष अकादमिक प्रोफेसर डॉ. जया चतुर्वेदी ने बताया कि यदि साइकिल को मानव जीवन का सबसे पहला यातायात का साधन या एडवेंचर कहा जाये, तो गलत नहीं होगा। उन्होंने बताया कि लगभग सभी लोगों ने अपने जीवन काल में कभी न कभी साइकिल जरूर चलाई होगी या कम से कम देखी तो अवश्य होगी।

उन्होंने बताया कि निश्चित तौर पर साइकिल परिवहन का सबसे सस्ता, आसान और पर्यावरण अनुकूल साधन है। लिहाजा साइकिल की महत्ता लोगों को समझाने और उन्हें साइकिल चलाने के लिए प्रेरित करने के उद्देश्य से ही हर वर्ष विश्व साइकिल दिवस मनाया जाता है ।

इस अवसर पर एम्स हॉस्पिटल के चिकित्सा अधीक्षक एवं नेत्र रोग विभागाध्यक्ष प्रो. संजीव मित्तल ने हरी झंडी दिखा कर साइकिल रैली का शुभारंभ किया। उन्होंने बताया कि साइकिल चलाने से हमारे शरीर में सुस्ती नहीं आती और शरीर की मांसपेशियां अच्छे ढंग से कार्य करती हैं।
साइकिलिंग से हमारा शरीर मोटापे से ग्रसित नहीं होता है। नियमित साइकिल चलाने से हमारा शरीर पूरी तरह से फिट रहता है। साथ ही इससे पैरों की हड्डियां मजबूत रहती हैं जो हमारा बुढ़ापे तक साथ देती है। इसके अलावा साइकिल के उपयोग से काफी हद तक दुर्घटनाओं से बचा जा सकता है।
उन्होंने लोगों से आह्वान किया कि प्रत्येक व्यक्ति दिन में एक या दो बार साइकिल अवश्य चलाएं ताकि इससे उनका शरीर फिट और फाइन रहे।

नेत्र विभाग की एसोसिएट प्रोफेसर व साइकिल रैली की समन्वयक डॉ. नीति गुप्ता ने बताया कि इस आयोजन में संस्थान के फैकल्टी मेम्बर्स डॉ. वंदना ढींगरा, डॉ. रश्मि मल्होत्रा, डॉ. अंकुर मित्तल, डॉ. वरुण कुमार, डॉ. मीनाक्षी धर, डॉ. प्रिया वंधना, सीनियर रेजिडेंट डॉ. आर्नव, जूनियर रेजिडेंट्स चिकित्सकों के अलावा एम्स के नर्सिंग ऑफिसर महिपाल चौहान, तरुण, संदीप गुसाईं , हिमालयन इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंस से डॉ. रश्मि जिंदल, महंत इंद्रेश हॉस्पिटल से डॉ. विभा गुप्ता व रेड राइडर्स समूह के नीरज शर्मा, डा. अपूर्वा त्रिवेदी, मनीष मिश्रा, विक्रम, राजेश सूद, बूटा सिंह, देवेंद्र राजपूत, अविनाश साहा, पंकज आदि सदस्यों ने साइकिल रैली में बढ़ चढ़कर प्रतिभाग किया।

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